केरल :- आम तौर पर अनशन पर बैठने का काम राजनेता, समाजसेवियों और दूसरे संगठनों द्वारा किया जाता है। लेकिन शायद की कभी किसी सांवैधानिक पद पर बैठे व्यक्ति को अनशन करने का बात सामने आई होगी। लेकिन, केरल में यह बात सच साबित हुई है। अनशन पर बैठनेवाला व्यक्ति भी कोई सामान्य सांवैधानिक पद का व्यक्ति नहीं, बल्कि राज्य के गवर्नर आरिफ मोहम्मद खान हैं. जो आज 10 घंटे के अनशन पर बैठे हैं। केरल के राज्यपाल के इस अनशन का उद्देश्य दहेज देने और लेने के खिलाफ समाज में जागरुकता फैलाना , महिलाओं के खिलाफ होने वाले अत्याचारों पर रोक लगाना और केरल को महिलाओं के लिए सुरक्षित बनाना है।
राजभवन के अनुसार पिछले महीने ही राज्यपाल ने महिलाओं से ‘दहेज को न कहने’ की भावनात्मक अपील की थी।राज भवन के सूत्रों के अनुसार गांधीवादी संगठनों की ओर से मिले आमंत्रण पर राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने इस विरोध प्रदर्शन में शामिल होने का निर्णय लिया।
राजभवन में आज सुबह 8 बजे से शाम 6 बजे तक राज्यपाल अनशन कर रहे हैं।शाम 4.30 बजे से 6 बजे तक राज्यपाल गांधी भवन में हो रहे विरोध प्रदर्शन में शामिल होंगे। राज्यपाल के कार्यालय की ओर से दी गई जानकारी के अनुसार यह विरोध प्रदर्शन गांधी संगठन की ओर से आयोजित किया गया है।
अनशन पर बैठे राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने कहा, ‘दहेज का लेन-देन अपराध है जिसके लिए पांच साल तक की सजा है। इससे भी ज्यादा उन महिलाओं के प्रति गंभीर तौर पर अपमानजनक है जिन्होंने केरल के विकास में योगदान दिया है।’ उन्होंने कहा कि हम दहेज नहीं चाहते लेकिन इसे खत्म करने के लिए जागरुकता लाने और लैंगिक समानता व सामाजिक न्याय लाने में लंबा समय लगेगा। उन्होंने राज्य के युवावर्ग से आगे आकर दहेज वाली शादी से इनकार करने की अपील की।